प्रश्नावली-1B
1.रिक्त स्थानों की पूर्ति करें-
(i)धन पूर्णांक P अभाज्य होगा यदि P में केवल…… और…… से भाग लगे।
Ans.1, p
(ii)……. संख्या को अभाज्यों के गुणनफल के रूप में लिखा जा सकता है।
Ans. यौगिक
(iii)दो पूर्णांक a और b सह- अभाज्य है ं यदि म०स० (a, b)=
Ans. 1
(iv)म०स० (48, 30) =म०स० (30,……)
Ans.48
(v)म०स०(a,b)x(a,b)=……. X……..
Ans. a, b
2.निम्न गुणनफल में अज्ञात संख्याओं को लिखें-
(i) 2—-(A)
|
2—–(B)
|
2—–(C)
|
17
क्या सबसे ऊपर की संख्या अन्य संख्याओं को बिना ज्ञात किए मालूम की जा सकती है? क्यों?
Ans.शेष परिणाम से स्पष्ट है कि C=34, B=68, A=168
हाँ क्योंकि यह संख्या अभाज्य गुणनखण्ड का गुणनफल है। और अभाज्य गुणनखण्ड ज्ञात है।
(ii)
[ ] x [ ] x [ ]x [ ]x [ ]
| / /
| / /
[ 8 ] x [ ]
/
/
[ 72 ]
Ans. चित्र से ज्ञात है कि 2x2x2x3x3=9
3.निम्नलिखित का अभाज्य गुणनखण्ड करें-
(i)124
Ans. 2|124
2|62
31
=2x2x31
(ii)156
Ans. 2|156
2|78
3|39
13
=2x2x3x13
(iii)140
Ans. 2|140
2|70
5|35
7
=2x2x5x7
(iv)5005
Ans. 5|5005
7|1001
11|143
13
=5x7x11x13
(v)32760
Ans 2|32760
2|16380
2|8190
5|4095
3|819
3|273
7|91
13
=2x2x2x5x3x3x7
4.अभाज्य गुणनखण्ड विधि से निम्नलिखित के म०स० और ल०स० निकालें-
तथा पुनः (i),(ii)और(iii) के लिए जांचे कि ल०स०x म०स०=संख्याओं का गुणनफल
(i)6,20
Ans. 2|6 2|20
3 2|10
5
6={2}x3
20={2}x2x5
म०स०=2
ल०स०=2x2x3x5=60
(ii)17, 25
Ans. 17|17 5|25
1 5|5
1
17={1}x17
25={1}x5x5
म०स०=1
ल०स०=1x5x5x17=425
(iii)510, 92
Ans. 2|510 2|92
5|255 2|46
17|51 23|23
3 1
510={2}x3x5x17
92={2}x2x23
म०स०=2
ल०स०=2x2x2x3x5x17x23=23460
(iv)6,72,120
Ans. 2|6 2|72 2|120
3 2|36 2|60
2|18 2|30
3|9 3|15
3 5
6={2}x{3}
72={2}x{3}x2x2x3
120={2}x{3}x2x2x5
म०स०=2×3=6
ल०स०=2x3x2x2x3x5=360
(v)17, 23,29
Ans. 17|17 23|23 29|29
1 1 1
17={1}x17
23={1}x23
29={1}x29
म०स०=1
ल०स०=17x23x29=11339
(vi)540,805,990
Ans. 2|540 5|805 2|990
2|270 7|161 5|495
5|135 23 11|99
3|27 3|9
3|9 3
3
540=2x2x{5}x3x3x3
805={5}x7x2x3
990=2x{5}x11x9
म०स०=5
ल०स०=2x2x5x3x3x3x7x23x11=956340
(Vii)8,9,25
Ans. 2|8 3|9 5|25
2|4 3|3 5|5
2|2 1 1
1
8={1}x2x2x2
9={1}x3x3
25={1}x5x5
म०स०=1
ल०स०=2x2x2x3x3x5x5=1800
जांच
(i)2×60=120
6×20=120
(ii)1×425=425
17×25=425
(iii)2×23460=46920
510×92=46920
5.(i)12576और4052 का अंकगणित के मूलभूत प्रमेय से म०स० ज्ञात करें फिर म०स० की सहायता से ल०स० निकालें।
Ans. 2|12576 2|4052
2|6288 2|2026
2|3144 1013
2|1572
2|786
3|393
131
12576={2}x{2}x2x2x2x3
4052={2}x{2}x1013
म०स०=2×2=4
ल०स०=2x2x2x2x2x3x131x1013=12739488
ल०स०xम०स०=संख्याओं का गुणनफल
12576×4052
ल०स०= म०स०
12576×4052
4
=12576×1013=12739488
(ii)अभाज्य गुणनखण्ड की प्रक्रिया से 96 और 404 का म०स० निकाले ं। फिर, म०स० की सहायता से ल०स० निकाले ं।
Ans. 2|96 2|404
2|48 2|202
2|24 101
2|12
2|6
3
96={2}x{2}x2x2x2x3
404={2}x{2}x101
म०स०=2×2=4
ल०स०=2x2x2x2x2x3x101=9696
ल०स०xम०स०=संख्याओं का गुणनफल
ल०स०x4=96×404
96×404
ल०स०= 4
=24×404=9696
(iii)यदि ल०स० (306, 657)=22338 तो म०स० (306, 657) निकाले ं।
Ans. म०स०x ल०स०=306×657
म०स०x22338=306×657
म०स०= 306×657
22338
=201042
22338
=9
6.(i)जांचे कि क्या किसी प्राकृत संख्या n के लिए 4n के अंत में 0 आ सकता है|
Ans. 4=4=2×2
(4)2=4×4=2x2x2x2
(4)3=4x4x4=2x2x2x2x2x2
(4)4=4x4x4x4=2x2x2x2x2x2x2x2 etc
इस प्रकार हम पाते हैं कि 4n के गुणनखण्ड में अभाज्य संख्याओं 2 है। फिर अंकगणित के मूलभूत प्रमेय से 4n
कोई दूसरा अभाज्य गुणनखण्ड संभव नहीं है। 4n के अंत में 0 तब होगा जब 2 के अलावा अभाज्य संख्या 5 से विभाज्य हो अर्थात ् 4n के अभाज्य गुणनखण्ड में 5 रहना चाहिए। किंतु, ऐसा नहीं है। अतः किसी प्राकृत संख्या n के लिए 4n के अंत में शुन्य नहीं होगा।
(ii)जांचे कि क्या किसी प्राकृत संख्या n के लिए 15n के अंत में 0 आ सकता है।
Ans.15=15=3×5
(15)2=15×15=3x5x3x5
(15)3=15x15x15=3x5x3x5x3x5
(15)4=15x15x15x15=3x5x3x5x3x5x3x5
चूंकि 15n के गुणनखण्ड में अभाज्य संख्याएँ 5 है। इसलिए 15n के अंत में 0 आ सकता है।
0 टिप्पणियाँ